।अशफाक कायमखानी।
जयपुर।
हालांकि भारत के हर प्रदेश की सरकार के होने वाला मुखिया मुख्यमंत्री अपने विवेक व पसंद से किसी एक पत्रकार को अपना प्रैस सलाहकार नियुक्त करके उससे प्रैस के सम्बन्धित काम करवाने के साथ साथ समय समय पर प्रैस व सरकार मे हमेशा दोस्ताना माहोल बने रहने के लिये उससे सलाह भी ली जाती रहती है। लेकिन राजस्थान के मुख्यमंत्री बने अशोक गहलोत को दो महिने होने को आ रहे है। लेकिन उन्होंने अभी तक किसी भी पत्रकार को अपना प्रैस सलाहकार नियुक्त नही किया है। जबकि 2008 मे अशोक गहलोत के मुख्यमंत्री की शपथ लेने के बाद उसी दिन पहला सरकारी आदेश ही तत्कालीन समय मे दैनिक नवज्योति अखबार मे कार्यरत सीनियर पत्रकार एम. यासीन को अपना प्रैस सलाहकार नियुक्त करने के निकाले थे।
. 1998 मे राजस्थान के पहली दफा मुख्यमंत्री बनने पर अशोक गहलोत ने दैनिक नवज्योति अखबार के अच्छे पत्रकार गोविंद चतुर्वेदी को अपना प्रैस सलाहकार नियुक्त किया था। गोविंद चतुर्वेदी के कार्यकाल को प्रैस व सरकार के अच्छे तालूकात के हिसाब से बहुत ही सूनहरा पीरीयड माना जाता है।उसके बाद 2008 मे फिर से अशोक गहलोत के मुख्यमंत्री बनने पर भी उन्होंने दैनिक नवज्योति के ही पत्रकार एम. यासीन को अपना प्रैस सलाहकार बनाया था।
17-दिसम्बर को अशोक गहलोत के मुख्यमंत्री की शपथ लेने के बाद पूरे एक सफ्ताह तक बतौर प्रैस सलाहकार के लिये जयपुर मे कार्यरत पत्रकारों के अनेक नाम बाजार मे चले थे। लेकिन दो महीने होने को आने के बावजूद मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अभी तक अपना प्रैस सलाहकार नियुक्त नही किया है। जबकि अलग अलग अन्य क्षेत्र के माहिरीन को सलाहकार जरुर नियुक्त किये है।
दिल्ली मे अखिल भारतीय कांग्रैस कमेटी के संगठन महामंत्री रहते एवं उससे पहले भी दिल्ली की राजनीति मे सक्रिय रहते हुये अशोक गहलोत के दिल्ली मे कार्यरत अनेक पत्रकारों से मधुर रिस्ते कायम हुये है। चर्चानुसार सूनने मे आ रहा है कि दिल्ली मे मोजूद अशोक गहलोत का विश्वसनीय पत्रकार राजस्थान मे मुख्यमंत्री का प्रैस सलाहकार बन कर जयपुर आ सकता है। जबकि जयपुर मे मोजुद पत्रकार भी प्रैस सलाहकार बनने की उम्मीद अभी भी दिल मे पाले बैठे है।