आधुनिकता की अंधी दौड़ या नैतिकता का पतन

 

सैयद खालिद कैस,भोपाल मध्य प्रदेश

आज हमारा देश विश्व के प्रगतिशील देशों के बराबर विश्व पटल पर अपनी उपस्थिति दर्ज कराए हुए है। विश्व के अन्य देशों की भांति हमारे देश की जनता भी आधुनिकता की दौड़ में शामिल है। युवा हों या अधेड़ आज फैशन की परेड में सब जिस तरह कदमताल कर रहे हैं वह उनकी दशा और दिशा का निर्धारण करते हैं।समाज में आए दिन एक से बढ़कर एक हादसे नजर आ रहे हैं। समाज में नैतिकता का पतन लगातार हो रहा है लेकिन आज के दौर के लोग नैतिक पतन को ही विकास मानकर चल रहे हैं।

आधुनिकता की इस अंधी दौड़ ने हमारे समाज में विवाह रूपी संस्कार की तिलांजलि देकर एक नवीन अवधारणा को जन्म दिया जिसे लिव इन रिलेशनशिप का नाम दिया। सरकार और न्यायपालिका से अभय दान प्राप्त इस प्रथा ने आज समाज को अपने मकड़जाल में ऐसा फांसा है कि उससे बाहर निकलना असंभव सा प्रतीत होने लगा है। आज उसके परिणाम जो समाज के सामने आ रहे हैं वह गंभीर ही नहीं बल्कि खतरनाक भी हैं। अभी मुंबई मीरा रोड हत्याकांड की खबर की स्याही सुखी भी नहीं है जिसमें एक अधेड़ ने अपने से 20 साल छोटी लड़की को किस बेरहमी से खतम किया था। दोनों के बीच लिव इन रिलेशनशिप संबंध ही थे जिसका अंत खौफनाक निकला। इस जैसे हजारों उदाहरण समाज में मौजूद हैं जिनकी कथा लिखने लगें तो एक साल गुजर जाएगा। परिवार रूपी संस्था तथा विवाह रूपी संस्कार को नष्ट कर एक नई सामाजिक संरचना के यह वाहक समाज को सिर्फ गंदगी ही परोस रहे हैं। अनैतिक संबंधों की पृष्ठभूमि पर बने यह संबंध जितनी जल्दी बनते हैं उतनी ही जल्दी इन संबंधों का दर्दनाक अंत भी सामने आता है।

समलैंगिकता का दंश भी भारतीय समाज को कलंकित कर रहा है। आज देश में समलैंगिक संबंधों की हवा जिस तेजी से समाज को अभिशप्त कर रही है उससे सभी परिचित हैं। अपने घिनौने संबंधों को कानूनी जामा पहनाकर जीने वाले इस समाज ने एक अजीब ही अवधारण का निर्माण किया है।जिसमे नैतिकता का कोई स्थान नहीं है। इस सब के बीच इन दिनों देश की सर्वोच्च न्यायालय में सेम सेक्स विवाह पर चल रही सुनवाई एक अलग चर्चा का विषय बनी है। सेम सेक्स विवाह का समर्थन करने वाले चाहते हैं कि उनको विवाह की आजादी मिल, कानूनी अधिकार मिले ताकि वह समाज को और अभिशप्त कर सकें। मामला न्यायालय में विचाराधीन होने के कारण उस पर कोई भी प्रतिक्रिया नही की जा सकती है लेकिन सेम सेक्स विवाह को मान्यता मिलना समाज के संस्कारों को नष्ट करने जैसा होगा।

इसी आधुनिक युग में डेटिंग प्रथा का चलन बड़ी तेजी से पनपा और आज वह जो रूप लिए है वह घिनौना और अमर्यादित कहा जाए तो अतिशयोक्ति नहीं होगी। 21वीं सदी में डेटिंग के मायने बहुत बदल चुके हैं। लोगों को कैजुअल डेटिंग पसंद आने लगी है। यानी वो डेटिंग जिसमें दो लोग प्रेमी-प्रेमिका की तरह रहते हैं पर कभी भी एक दूसरे से अलग हो सकते हैं। ऐसे में समाज के लिए एक नई चुनौती के रूप में आए “शुगर डैडी या शुगर बेबी” रिलेशन भी अब चर्चा में है। सुनने में अजीब लगने वाला यह नाम आखिर क्या है इसको समझना जरूरी है। समाज में उत्पन्न इस विकृति को इस तरह समझा जाए कि एक कम उम्र लड़की जो उम्रदराज मर्दों से डेट करती हैं और बदले में उनसे पैसे और अलग-अलग तरह की सुविधाएं लेती हैं, दूसरे देशों की यात्राओं पर जाती हैं, महंगे गिफ्ट लेती हैं, हॉलीडे पर जाती हैं और फिजिकल रिलेशन भी बनाती हैं। वह शुगर बेबी कहलाती है तथा वह उम्रदराज मर्द जो इन लड़कियों से संबंध स्थापित करते है उसे बदले में पैसे और अलग-अलग तरह की सुविधाएं प्रदान करते है वह शुगर डैडी कहलाते है।

एक सर्वे के अनुसार इस तरह का रिलेशनशिप में ज्यादातर वो लोग होते हैं जिनकी पर्सनल लाइफ बहुत खराब हो जाती है या फिर वो जो जीवन में अकेले होते है। शुगर डैडी या शुगर बेबी खोजने के लिए है एक खास वेबसाइट 2023 से ज्यादा चलन में आए है। दरअसल शुगर डैडी ज्यादा उम्र के मर्द हैं जो पैसे देकर कम उम्र की लड़कियों को डेट करना चाहते हैं और इसके लिए ऑनलाइन डेटिंग एप पर जाकर वह अपनी तलाश पूरी करते हैं और ऐसी डेटिंग साइट को शुगर डैडी साइट कहा जाता है। अक्सर इस तरह के रिलेशनशिप में दोनों पार्टनर अपनी जरूरतों के हिसाब से रिश्ता बनाते हैं जो कि पारंपरिक डेटिंग से बिल्कुल अलग है।

हैरानी की बात है कि 2022 के बाद से देश में बहुत सी शुगर डैडी वेबसाइट और डिजिटल प्लेटफॉर्म पॉपुलर हो रहे हैं। ऐसे एप्स या वेबसाइट उम्र दराज लेकिन अमीर लोगों के लिए एक ऐसा प्लेटफार्म है जहां वह शुगर डैडी बनकर आकर्षक कम उम्र की शुगर बेबी यानी कि कम उम्र की महिलाओं को डेट करने के लिए कह सकते हैं। यह रिलेशनशिप आमतौर पर खुले खर्चे और बेहतर कंपनी की तलाश में किए जाते हैं । यानी कि जैसी आपकी जरूरत वैसा पार्टनर आप यहां पा सकते हैं ऐसे लोग जो बेहतर कंपनी की तलाश कर रहे हैं वह यहां शुगर बेबी से खुश हो सकते हैं और शुगर बेबी अपनी आर्थिक जरूरतों को इन शुगर डैडी इसके जरिए पूरा कर सकती हैं।

भारत में इसका ट्रेंड भी तेजी से बढ़ रहा है। भारत में आज कल ऐसी लड़कियां काफी सक्रिय हैं जिनको अमीर, अनुभवी तथा एकांत जीवन जीने वाले अधिक उम्र के आदमियों की तलाश होती है जो मैच्योर और अनुभवी होते हैं और उन पर दिल खोलकर खर्च कर सके और उन्हें महंगी हॉलीडेज पर ले जा सके और गिफ्ट दिला सके । पश्चिमी देशों में शुगर डैडी का यह कांसेप्ट बहुत ही लोकप्रिय हो रहा है और अब भारत में भी यह ट्रेड धीरे-धीरे बढ़ रहा है। कुछ मामले ऐसे सामने आए हैं जहां कम उम्र की लड़कियां इस तरह शुगर डैडी के साथ रिलेशनशिप में हैं।

प्राप्त जानकारी अनुसार “शुगर डैडी फॉर मी “ के दुनिया भर में 4.5 करोड़ यूज़र हैं। देश में इस ट्रेंड का लगातार बढ़ना चिंता का विषय है। आधुनिकता की इस होड़ में नित नए नए रिश्तों की बनती आधारशीला समाज को एक विकृत रूप प्रदान कर रही है। इसे आधुनिकता की अंधी दौड़ कहें या नैतिकता का पतन कहें लेकिन इस तरह के रिश्ते समाज में गंदगी फैला रहे हैं।