सरकार द्वारा वक़्फ़ बोर्ड में बिना चुनाव प्रक्रिया के सीधे सदस्य बनाए जाने को लेकर न्यायालय जाएंगे आरिफ़ मसूद।
भोपाल। विधायक आरिफ मसूद द्वारा आज पत्रकारवार्ता में सरकार द्वारा चुनाव प्रक्रिया में सरकार की तरफ से दो विधायक होने के बाद बिना चुनाव कराए एक सदस्य के नाम आदेश पारित कर देना यह चुनाव प्रक्रिया का उल्लंघन है इससे स्पष्ट होता है कि सरकार की प्रक्रिया निष्पक्ष चुनाव कराना नहीं है।
आगे विधायक आरिफ मसूद ने कहा सरकार के इस निर्णय को लेकर न्यायालय जाऊंगा जबकि यह नियम है कि दो विधायक होने पर चुनाव कराए जाते हैं। माननीय उच्च न्यायालय के आदेशानुसार एवं निर्देशानुसार म.प्र. वक्फ बोर्ड भोपाल के निर्वाचित बोर्ड का गठन किया जा रहा है, जिसके तारतम्य में म.प्र. शासन द्वारा रिटर्निंग ऑफिसर म.प्र. वक्फ बोर्ड भोपाल म.प्र. के रुप में श्री एच.यू. खान की नियुक्ति की गई थी।
आगे विधायक आरिफ मसूद ने कहा कि चुनाव अधिकार श्री एच.यू. खान द्वारा दिनांक 11.07.2022 को म.प्र. वक्फ बोर्ड की संरचना में निर्वाचन मंडल की विभिन्न श्रेणियों के चुनाव हेतु कार्यकम घोषित किया गया एवं चुनाव सम्पन्न कराये जाने की तिथि दिनांक 30.07.2022 घोषित हुई, जिसमें वक्फ एक्ट की धारा 14 के तहत निर्वाचन मण्डल का गठन होना था, जिसमें एक पूर्व सांसद, एक विधायक, राज्य विधिक परिषद का एक सदस्य एवं मुतवल्ली श्रेणी से एक सदस्य का निर्वाचन कार्यक्रम जारी किया गया था। रिटर्निंग ऑफिसर द्वारा म.प्र. वक्क बोर्ड की संरचना में निर्वाचन मंडल की विभिन्न श्रेणियों के चुनाव के संबंध में घोषित निर्वाचन कार्यकम को म.प्र. वक्फ बोर्ड भोपाल के मुख्य कार्यपालन अधिकारी द्वारा दिनांक 27.07.2022 को पत्र क्र.फ.क. 55-4/बोर्ड गठन/2022-4044 के माध्यम से स्थगित किया जा चुका है।
विधायक आरिफ मसूद ने बताया कि म.प्र. शासन द्वारा रिटर्निंग ऑफिसर श्री एच.यू खान के स्थान पर दाऊद अहमद खान को रिटर्निंग ऑफिसर नियुक्त किया गया परन्तु निर्वाचन प्रकिया वर्तमान में स्थगित है उसे पुनः प्रारंभ नही किया गया है जब निर्वाचन प्रक्रिया दिनांक 27.07.2022 को स्थगित कर दी गई, तब दिनांक 27.07.2022 को ही निर्वाचन दिनांक से पूर्व राज्य विधिक परिषद से कैसे किसी को निर्वाचित घोषित कर दिया गया। निर्वाचन प्रकिया स्थगित होने के बाद भी म.प्र. शासन द्वारा दूषित प्रकिया अपनाई जाकर नियम विरुद्ध तरीके से म.प्र. वक्क बोर्ड के सदस्य के रुप में दो सदस्यों को घर बैठे निर्वाचन कर दिया गया।
पत्रकारों से चर्चा करते हुए विधायक आरिफ मसूद ने शासन द्वारा आदेश दिनांक 29.07.2022 के द्वारा वक्फ अधिनियम की धारा 14(1)पप ख के अंतर्गत बिना निर्वाचन के श्री आरिफ अकील विधायक को बोर्ड का सदस्य नियुक्त कर दिया जो नियम विरुद्ध है। इस श्रेणी के अंतर्गत 2 विधायक हैं, जिनमें विधिवत चुनाव के उपरांत ही किसी एक के संबंध में शासन द्वारा निर्णय लिया जा सकता था। यदि चुनाव उपरांत कोई विधायक नही चुना जा सका है तब शासन द्वारा किसी एक को नामित किया जा सकता है। शासन द्वारा एक विधायक को चुनाव में हिस्सा लेने का अवसर न देकर उसके संविधान द्वारा प्रदत्त मूल अधिकारों का हनन किया गया ही जो अत्यंत अपात्तिजनक है एवं राज्य विधिक परिषद से किन्हीं का चयन कर लिया गया है, जो कि निर्वाचन की प्रक्रिया नहीं अपनाते हुए सदस्यों को नामित कर दिया गया है, जो कि वक्फ एक्ट के विरूद्ध है।
विधायक आरिफ मसूद ने कहा कि आज इस संबंध में एक पत्र प्रमुख सचिव पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण विभाग, म.प्र. शासन भोपाल, आयुक्त पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण विभाग म.प्र., भोपाल मुख्य कार्यपालन अधिकारी, म.प्र. वक्फ बोर्ड, भोपाल को मेरे द्वारा प्रेषित किया गया। म.प्र. शासन द्वारा म.प्र. वक्फ बोर्ड के गठन में अपनाई जा रही प्रक्रिया दूषित है, जिससे आवेदक के अधिकारों का हनन हो रहा है। चुनाव प्रक्रिया वर्तमान में स्थगित है। चुनाव प्रक्रिया स्थगित होने के बावजूद भी लगातार म.प्र. शासन द्वारा की जा रही नियुक्तियाँ अवैध होकर निरस्त किया जाए।